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देश में पहली बार

डिजिटल इंडिया अभियान के तहत ऑनलाइन चंदा अभियान में रोजगार

भ्रष्टाचार को कम से कम करने के लिए कैशलेस अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन देना भारत सरकार की नीति है। राजनीतिक सुधारों के लिए प्रतिबद्ध राजनैतिक पार्टी- वोटर्स पार्टी इंटरनेशनल (वीपीआई) कैशलेस अर्थव्यवस्था की दिशा में सहयोग करने के लिए प्रयासरत है। वीपीआई का अनुभव है कि इस पार्टी के विचारों को पसंद करने वाले बहुत से लोग अनपढ़ हैं, उनको अंग्रेजी नहीं आती या उनके पास कंप्यूटर/लैपटॉप/स्मार्ट फ़ोन नहीं होता। परिणाम स्वरूप वह अपनी पसंदीदा पार्टी वीपीआई को चंदा ऑनलाइन नहीं दे पाते।

पैसे की तंगी की जेल में बंद 80 करोड़ बे-वकील लोगों को वकील दिलायें

चंद धनवानों को छोड़ दिया जाये तो बाकी लगभग 80 करोड़ लोग नहीं जानते कि वह पैसे की तंगी की जेल में बंद है. उनको रिहा करने के लिए जनता की अदालत और विधान सभाओं में लड़ने वाले वफादार वकील चाहिए. इसलिए वकील को नियमित फीस देना ही समझदारी है. हमारा काम है मुवक्किल से वकील को मिलाना और दोनों को मिलाने की सेवा देने के बदले सेवा शुल्क सर्वोदय (STS) से लेना.

गरीब आदमी को अदालत में सरकार अपने पैसे से वकील देती है। संसद और विधानसभा में जाने वाले जनप्रतिनिधि भी वकील होते हैं लेकिन गरीब और मध्य वर्ग के लोग उनको फीस नहीं दे पाते। इसलिए जनप्रतिनिधि चाहते हुए भी संसद और विधानसभाओं में वफादारी के साथ गरीबों और मध्य वर्ग की वकालत नहीं कर पाते। इसलिए कंपनी ने देश के लगभग 80 करोड़ गरीबों और मध्यवर्ग को वकील देने में मदद करने के लिए काम कर रही है। गरीब लोगों को ऑनलाइन सुविधाएं देकर कंपनी चाहती है कि गरीब लोग भी अपनी छोटी छोटी रकम अपनी मनपसंद पार्टी को प्रतिमाह और प्रतिवर्ष नियमित दे सकें।

ईमानदारी और वफादारी

समृद्ध, शक्तिशाली और सच्चे अर्थों में एक लोकतांत्रिक राष्ट्र का निर्माण

वीपीआई का निष्कर्ष है कि जब राजनीतिक दलों को गरीबों और मध्यवर्ग से ऑन लाइन चंदा मिलना शुरू हो जाएगा, तो राजनीतिक दल गरीबों के प्रति वफादार वकील बन जाएंगे, इमानदारी से काम कर पाएंगे और गरीबों और मध्यवर्ग को न्याय देने वाले कानून बना पाएंगे। देश से गरीबी खत्म हो जाएगी, भारत एक समृद्ध और शक्तिशाली और सच्चे अर्थों में एक लोकतांत्रिक राष्ट्र बन जाएगा।

राजनीतिक अन्धविश्वास

वोटर अपनी वोट को बेटी और नेता को दामाद समझते है

दामाद खोजते वक्त एक पिता योग्य दामाद तलाशता है। किंतु अपनी जाति, अपने धर्म तथा अपने देश के बाहर पलकें उठा कर नहीं देखता। इसलिए भी उसको अयोग्य दामाद मिलता है। यही आदत उसके दिमाग को कंट्रोल कर लेती हैं। वह अनजाने में अपनी वोट को अपनी पुत्री समझने लगता है। अपनी वोट अपनी जाति, अपने धर्म तथा अपने देश के बाहर के किसी व्यक्ति को नहीं देना चाहता। इसलिए उसको अयोग्य नेता मिलता है। लोगों को समझाने की जरूरत है कि नेता हमारा वकील होता है, दमाद नहीं, जिसको अपनी ही जाति और अपने ही धर्म के बीच तलाशा जाए। दामाद की अमीरी अपने काम आती है। लेकिन आपकी वोट से नेता को जो अमीरी हासिल होती है, वह आपके काम नहीं आती। इसलिए गाँव गाँव , घर घर जाकर लोगों को लोकतांत्रिक और संवैधानिक शिक्षा देना हमारा काम है.

लोकतांत्रिक अशिक्षा

लोग नेताओं को राजा

और खुद को प्रजा समझते हैं

पहले राजा का काम था- प्रजा पर खुश होकर उसको फ्री में उपहार देना। वही उम्मीद लोग आज के नेताओं से लगाए बैठे हैं। इसलिए लोग ऐसा नेता चाहते है, जिसके घर जाएं तो वह खिलाए - पिलाए, आने-जाने का किराया-भाड़ा दे, जरूरत पड़ने पर बच्चों की शादी-विवाह में मोटी रकम दे और वापस न मांगे। कभी वह किसी मीटिंग में बुलाए तो आने-जाने के लिए गाड़ी भेजें। इन कामों पर जो पैसा खर्च होता है, उस पैसे के इंतजाम के लिए नेता को सभी अपराध करने की छूट दे देते है. वह चाहे तो अपने घर की जमीन जायदाद बेंचे. चाहे चुनाव जीत कर सरकारी खजाने से पैसा लूटे. चाहे बहुसंख्यक जनता की कमाई को चोरी-चुपके से हड़पने वाले कानून बना कर हड़पने वालों से चंदा ले, चाहे व्यापारियों का अपहरण और हत्या करे..। तथाकथित राजाओं को सभी अपराध करने की अनुमति है।

वकील और राजा में अंतर

लोगों को लोकतंत्र का सही अर्थ समझाया ही नहीं गया। बहुत लोग नेताओं को अभी भी राजा समझते हैं। इसीलिये बहुत से लोग यह मानते हैं कि चुनाव लड़ना, सांसद-विधायक बनना हमारा काम ही नहीं है। यह तो बड़े बड़े धनवानों का काम है। इसलिए वोट भी केवल उसी को देना चाहिए जो सबसे बड़ा धनवान हो। इसलिए समाज को अधिकांश भ्रष्ट, बेईमान, बेवफा, चरित्रहीन और अयोग्य नेता मिल रहे हैं। क्योंकि भ्रष्टाचार का काम, व्यापारियों के अपहरण का काम, राजनीतिक विरोधियों की हत्या का काम, सरकारी खजाना लूटने का काम, कुछ लोगों की हत्या करके लोगों के मन में आतंक कायम करने का काम कोई सज्जन, इमानदार, चरित्रवान और योग्य व्यक्ति नहीं कर सकता। इसलिए लोकतांत्रिक और संवैधानिक शिक्षा का प्रचार प्रसार करना राष्ट्र के बड़ी सेवा है।


वकील शत्रु पक्ष से फीस ले रहा है तो मुकदमे में अपनी हार तय

यह बताना कि नेता हमारे राजा नहीं होते, संसद और विधानसभाओं में हमारे हितों के लिए लड़ने वाले वकील होते हैं। वकील से खैरात नहीं मांगी जाती. वकील से आने-जाने का किराया-भाड़ा और आने-जाने के लिए गाड़ी-मोटर, खाने-पीने का खर्च नहीं मांगा जाता है. अपितु इसके विपरीत उसको नियमित फीस दिया जाता है। अगर हम वकील को फीस नहीं देते तो वकील उस आदमी से फीस लेगा, जिसके खिलाफ हमारा मुकदमा चल रहा है। यदि हमारा वकील हमारे शत्रु से फीस ले रहा है तो मुकदमे में हमारी हार तय है। चूंकी अपने वकील, यानी अपने मनपसंद नेताओं को नियमित चंदा देने की आदत बहुसंख्यक जनता में पैदा ही नहीं की गई, इसीलिए बहुसंख्यक निर्धनों और मध्यवर्ग के देश में अल्पसंख्यक धनवानों का राज चल रहा है। बहुसंख्यक समाज आतंक के और गरीबी के दलदल में लम्बे समय से जी रहा है।

असली समस्या, तो समाधान भी हो असली

वैश्विक दृष्टि,

स्थानीय कदमताल

वैश्विक अर्थव्यवस्था के मौजूदा युग में कई राजनीतिक आर्थिक समस्याओं का उपाय वैश्विक स्तर पर पंहुंच गया है । लेकिन हमारी वैश्विक दृष्टि के साथ स्थानीय स्तर पर कार्य करके भी हम वैश्विक समस्याओं का समाधान करने में अपने हिस्से का सहयोग कर सकते हैं ।

युगधर्म

जो काम करने से सबका भला हो वही धर्म है। वोटरशिप अधिकार मिल जाए तो घर घर में पैसा पंहुच जाएगा। इसलिए वोटरशिप का काम धर्म का काम है। यही धर्म 21वीं सदी का युगधर्म है।.

आपकी सहायता के लिए वीडिओ

आप YouTube पर वीडियो देख सकते हैं, ताकि पता चल सके कि आप कैसे शामिल हो सकते हैं? सर्वोदय (STS) का सोफ्टवेयर कैसे इस्तेमाल कर सकते है? ताकि पता चल सके कि दानदाताओं की तकनीको मदद कैसे कर सकते है? सभी को लिए सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक न्याय प्राप्त करने में आप तकनीकी सेवाएं कैसे दे सकते है? लोगों के सशक्तीकरण की योजना और हमारी अभिनव विचारधारा तथा आकर्षक योजनाये क्या है? वीडिओ देखें

कैसे बन सकते हैं आप हमारे मिशन का हिस्सा
फैसिलिटेटर बन कर

बहुसंख्यकों के राज को लोकतंत्र कहा जाता है। किंतु यह विडंबना है कि बहुसंख्यक गरीब और मध्य वर्ग के लोग अपने आर्थिक हितों की समुचित वकालत अपने जनप्रतिनिधियों के माध्यम से नहीं करवा पाते। क्योंकि वह अपने मनपसंद राजनीतिक दलों को नियमित चंदा नहीं दे पाते। उचित सेवा शुल्क के बदले घर घर जाकर लोगों के मनपसंद संगठन को ऑनलाइन चंदा दिलाने का काम करना बहुसंख्यक जनसंख्या को वफादार वकील दिलाने जैसा पवित्र कार्य है। यह कार्य करने वालों को ही कंपनी की भाषा में "फैसिलिटेटर" कहा जाता है।

अपनी वस्तुओं और सेवाओं का विक्रेता बन कर

देश में वस्तुओं और सेवाओं के उत्पादकों को यह कंपनी एक प्लेटफार्म दिला रही है जहां उनको ग्राहक और उपभोक्ता मिल सकेंगे। शुद्ध और उच्च गुणवत्ता की वस्तुएं और सेवाएं बाजार तक पहुंचाने में जो खर्च होता है , वह बच जाएगा. इस बचत का लाभ कंपनी से जुड़े दानदाताओं, उपभोक्ताओं और ग्राहकों को होगा।

हमारे मिशन के विक्रेताओं की वस्तुएं और सेवाओं का क्रेता बनकर

एसटीस प्लेटफार्म से जुड़े दानदाताओं को शुद्ध और उच्च गुणवत्ता की वस्तुओं और सेवाओं तक पहुंचने में मदद मिलती है। बहुत से दानदाता यह नहीं चाहते कि वह ऐसे विक्रेताओं से वस्तुएं खरीदें और ऐसे सेवादाताओं से सेवाएं लें, जो अपने मुनाफे का उपयोग दानदाताओं के मिशन के विरुद्ध करते हैं। अपने मिशन के लिए काम करने वाले उपभोक्ताओं और विक्रेताओं को आपस में जोड़ देना कंपनी के प्लेटफार्म से ही संभव है।

एसटीएस में अपनी बचत का निवेश करके

दानदाता यह चाहते हैं कि उनके बचत की धनराशि का निवेश ऐसी कंपनियों में न हो, जो कंपनियां अपने मुनाफे का उपयोग दानदाताओं के ही मिशन के विरुद्ध करती है। सर्वोदय टेक्नो सॉल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड एक ऐसी कंपनी है जो अपने मुनाफे का उपयोग लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए करने के लिए संकल्पित है। कंपनी के लगभग 80 करोड़ संभावित ग्राहक यह बताने के लिए काफी हैं कि आपका निवेश अन्य जगहों में निवेश की तुलना में अधिक तेजी से बढ़ सकता है।

शुरुआत कैसे करें

बस आपको अपने केवाईसी को साबित करने के लिए उनके फोटोग्राफ को अपलोड करने के लिए दस्तावेजों की आवश्यकता है। आपके खाते में सेवा शुल्क प्राप्त करने के लिए आपकी तस्वीर, पैन कार्ड , आपका पता और आपके बैंक खाते का विवरण अपने पास रखना होगा। दानदाताओं की सुविधा के लिए आपको डेबिट कार्ड की जरूरत होती है। मालूम हो कि ये सब सुचारू तरीके से करने के लिए अच्छी इंटरनेट स्पीड के साथ एंड्रायड मोबाइल सेट या लैपटॉप/डेस्कटॉप की जरूरत होती है।

हम आपकी सहायता को सदैव तत्पर

किसी भी प्रश्न और सहायता के लिए आप पूरे दिन सुबह 9 बजे से रात 8 बजे तक फ़ोन नंबर- 9651 403 402 पर फ़ोन कर सकते हैं। आप इसी नंबर पर व्हाट्सएप संदेशों और ईमेल द्वारा भी सहायता प्राप्त कर सकते है। हमारा ईमेल है- stshelp.central@gmail.com

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